पानी का रेला यानी प्रचण्ड आवेग के साथ गतिमान जलराशि।
2.
चाहे भारत माता की कल्पना हो, चाहे देशभक्ति का प्रचण्ड आवेग हो, चाहे जातीय
3.
जो भी जबर्दस्त प्रेरक तत्व उस वक्त सक्रिय थे-चाहे भारत माता की कल्पना हो, चाहे देशभक्ति का प्रचण्ड आवेग हो, चाहे जातीय आत्मगौरव और उससे जुड़ा सांस्कृतिक आत्मविश्वास हो, वे सब आज धूमिल हो गए हैं.
4.
कितना कठोर सत्य था! पद लालसा के इस प्रचण्ड आवेग में, विलास तृष्णा के उस अदम्य प्रवाह में वह भूल गया था कि जीवन में कोई ऎसा तत्व भी है, जिसके सामने पद और विलास कांच के खिलौनो से अधिक मूल्य नहीं रखते।
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कितना कठोर सत्य था! पद लालसा के इस प्रचण्ड आवेग में, विलास तृष्णा के उस अदम्य प्रवाह में वह भूल गया था कि जीवन में कोई ऎसा तत्व भी है, जिसके सामने पद और विलास कांच के खिलौनो से अधिक मूल्य नहीं रखते।